अधूरी तैयारियों के साथ बैठक में पहुंचे शिक्षा विभाग के अधिकारी, हरिद्वार समेत इन जिलों की धीमी प्रगति पर नाराज हुए गढ़वाल आयुक्त, अधिकारियों को दिये यह कड़े निर्देश, देखिए वीडियो

—गढ़वाल मंडल आयुक्त विनय शंकर पांडेय ने पौड़ी में ली मंडलीय अधिकारियों की समीक्षा बैठक
—50 प्रतिशत से कम धनराशि व्यय किए जाने पर उत्तरकाशी, चमोली और एवं हरिद्वार के जिलाधिकारियों को प्रगति लाने के निर्देश
कोटद्वार। आयुक्त गढ़वाल विनय शंकर पांडेय ने मंडल मुख्यालय पौड़ी में अधिकारियों के साथ विभिन्न योजनाओं की समीक्षा बैठक की। गढ़वाल मंडल के अन्य जिलों के मुख्य विकास अधिकारी बैठक में वर्चुअल माध्यम से जुड़े। आयुक्त ने अधिकारियों को निर्देश दिये कि पूर्व में दिए गए निर्देशों के क्रम में जिन अधिकारियों ने अपने अधीनस्थ विभागीय अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक नहीं की है, वह एक सप्ताह के भीतर बैठक आयोजित कर कृत कार्यवाही से अवगत कराएं। उन्होंने स्पष्ट किया कि इसमें किसी भी प्रकार की लापरवाही क्षम्य नहीं होगी। शिक्षा विभाग के अधिकारी की ओर से बैठक में अधूरी तैयारी के साथ उपस्थित होने पर आयुक्त ने नाराजगी व्यक्त की है।
गुरुवार को विकास भवन सभागार में आयोजित समीक्षा बैठक में गढ़वाल मंडल आयुक्त विनय शंकर पांडेय ने बताया कि मंडल स्तर पर चालू वित्तीय वर्ष में जिला योजना में 59107.90 लाख रूपए के अनुमोदित परिव्यय के सापेक्ष शत-प्रतिशत धनराशि अवमुक्त हुई है। इसमें से जनपद स्तर पर विभागों को अब तक 60.59 प्रतिशत धनराशि आवंटित की गई है। जिसमें से माह अगस्त तक 40.84 प्रतिशत वित्तीय प्रगति प्राप्त की गई है। शासन से अवमुक्त धनराशि के सापेक्ष जनपद स्तर पर 50 प्रतिशत से कम धनराशि व्यय किए जाने पर उत्तरकाशी, चमोली और एवं हरिद्वार के जिलाधिकारियों को प्रगति लाने के निर्देश दिए गए हैं।
राज्य सेक्टर के अन्तर्गत शासन से अवमुक्त 150363.39 लाख के सापेक्ष अगस्त माह तक 65570.96 लाख का व्यय कर 43.61 प्रतिशत वित्तीय प्रगति हासिल की गई है। राज्य सेक्टर में जनपद रुद्रप्रयाग की 25.37 प्रतिशत के साथ न्यूनतम प्रगति पर आयुक्त ने नाराजगी व्यक्त करते हुए जिलाधिकारी रुद्रप्रयाग को प्रगति लाने के निर्देश दिये।
आयुक्त ने स्पष्ट किया कि अगले 10-15 दिनों में मानसून काल समाप्त होने पर कार्यों को मिशन मोड में क्रियांवित करवाना सुनिश्चित किया जाय। उन्होंने मंडलीय अधिकारियों को निर्देश दिये कि वह अपने अधीनस्थ अधिकारियों की हर पखवाड़े में समीक्षा करें और बैठक के कार्यवृत्त से आयुक्त कार्यालय को अवगत कराएं। आयुक्त ने जिला अर्थ एवं संख्या विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि जिन विभागों की प्रगति संतोषजनक नहीं है, उन्हें चिन्हित करते हुए रिपोर्ट प्रस्तुत करें।
आयुक्त ने जल निगम की ऐसी पेयजल पम्पिंग योजनाएँ, जो वन की अनापत्ति के कारण लंबित हैं, उनके निस्तारण को लेकर वन विभाग के अधिकारियों के साथ समन्वय स्थापित करने के निर्देश दिए।
बैठक में लोक निर्माण विभाग, प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना, जल निगम, स्वास्थ्य, जल संस्थान, कृषि, पशुपालन सहित अन्य विभागों की कार्यप्रगति की समीक्षा की गयी।
इस अवसर पर पुलिस महानिरीक्षक गढ़वाल राजीव स्वरूप, जिलाधिकारी पौड़ी स्वाति एस. भदौरिया, वन संरक्षक गढ़वाल आकाश कुमार वर्मा, मुख्य विकास अधिकारी पौड़ी गिरीश गुणवंत, संयुक्त निदेशक अर्थ एवं संख्या गीतांजलि शर्मा, अधीक्षण अभियंता लोक निर्माण विभाग एम.पी.एस. रावत, संयुक्त निदेशक तकनीकी शिक्षा देवेंद्र गिरी, परियोजना निदेशक ब्रिडकुल संजय कुमार जैन, निदेशक शिक्षा कंचन देवड़ी, अधीक्षण अभियंता पीएमजीएसवाई एस.के. बसलियाल, उप निदेशक पशुपालन बी.एस. जंगपांगी सहित अन्य अधिकारी उपस्थित थे।

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